जब तक रहेगा समोसे में...केला!
जब तक रहेगा समोसे में...केला!
दुनिया में बढ़ रही गरमी से कुछ साल में आलू खत्म हो जाएगा और उसकी जगह केले से काम चलाना पड़ेगा। खेती और आबोहवा के जानकार बता रहे हैं कि आलू की पैदावार तेजी से कम होती जा रही है और अगर यह घाटे का सौदा होता जाएगा तो किसान भी इसकी खेती बंद कर देंगे।
दुनिया में बढ़ रही गरमी से कुछ साल में आलू खत्म हो जाएगा और उसकी जगह केले से काम चलाना पड़ेगा। खेती और आबोहवा के जानकार बता रहे हैं कि आलू की पैदावार तेजी से कम होती जा रही है और अगर यह घाटे का सौदा होता जाएगा तो किसान भी इसकी खेती बंद कर देंगे।
दुनियाभर में आलू ही है, जो ‘वसुधैव कुटु्बकम’ का नारा बुलंद करता है। आलू के बगैर कुछ भी पूरा नहीं होता है और आलू अपने आप में पूरा खाना भी हो जाता है। ऐसा नहीं है कि सिर्फ शाकाहारी ही आलू के भरोसे हैं। अंडा-करी से लेकर फिश और चिकन तक में आलू की हाजिरी लगती है। इंग्लैंड में तो शुक्रवार को ‘फिश एंड चिप्स डे’ कहा जाता है! आलू अगर सब्जी बना सकता है तो पराठे भी उसके बन जाते हैं और उपवास में हलवा भी। हमारे यहां तो कहा जाता है कि आलू इतना जरूरी है हमारे खाने में कि हम आलू की सब्जी में भी आलू डालते हैं। ऐसे परिवार कम नहीं हैं, जो आलू के बगैर कोई सब्जी नहीं खाते हैं। टीवी कलाकार और उद्घोषक विष्णु शर्मा का तो कहना रहा है कि आलू के बगैर जीवन में कोई स्वाद ही नहीं है। चाहे छप्पन पकवान हों, आलू अगर खाने में नहीं है तो बेस्वाद है।
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